RAHUL RAJ MISHRA

Rahul Raj Mishra

Rahul Raj Mishra

सूचना पट्टिका

सभी चित्र गूगल से साभार ग्रहण। इस ब्लोग पर लिखी सभी रचनाऎं पूर्णतया लेखक के अधिकार में सुरक्षित है।

HTML codes

हाल-ए-दिल लेबलों वाले संदेश दिखाए जा रहे हैं. सभी संदेश दिखाएं
हाल-ए-दिल लेबलों वाले संदेश दिखाए जा रहे हैं. सभी संदेश दिखाएं
बुधवार, 30 मई 2012

हाल-ए-दिल

हाल-ए-दिल बयां करके] एक खालीपन ही पाया है।

तिश्नगी समंदर थी] पर चुल्लु भर ही पाया है।





जिंदगी की नेमत ने] दर्द इतने बांटे है।


दूध] छाछ छोड़ो तुम] शरबत ने मुंह जलाया है।
      
राहुल राज मिश्र
28-05-2012 



लिखिए अपनी भाषा में